सोमवार, 19 जुलाई 2010

डांस के जरिए करना चाहती हैं चैरिटी


गरीब बच्चों के लिए चैरिटी शो के माध्यम से मदद करने और उनके टैलेंट को प्लेटफॉर्म प्रदान करने की हसरत रखने वाली भरतनाट्यम नृत्यांगना गरिमा सिंह तोमर ने बीस वर्ष की उम्र में ही अपनी नृत्यकला से एक अलग मुकाम बना लिया है। इस छोटी सी एज में ही उन्होंने लगभग पांच सौ अवार्ड प्राप्त कर लिए हैं। तीन साल की उम्र में माता के जागरण से डांस की शुरूआत करने के साथ ही उन्होंने स्कूल स्टेज पर कई शानदार परफॉर्मेंसेज दीं। आठ साल की उम्र में उन्हें प्रतिभा अवार्ड से सम्मानित किया गया। वे भरतनाट्यम पर अधिक फोकस करने के लिए श्रीराम कला केन्द्र, दिल्ली से पिछले तीन सालों से प्रशिक्षण प्राप्त कर रही हैं।

बारह वर्ष की उम्र में मप्र को रिप्रेजेंट करते हुए मालवा कला एकादमी की प्रतियोगिता में प्रथम स्थान प्राप्त किया। पंद्रह वर्ष की उम्र में कैंसर पीडि़त बच्चों के लिए लगातार दो घण्टे की बेहतरीन परफॉर्मेंस देकर उन्होंने इलाज के लिए बड़ी राशि इकट्ठा की। वह अपनी कला के बलबूते पर तानसेन अलंकरण, ग्वालियर जेसीआई, ग्वालियर गौरव और प्रभातरत्न जैसे शहर के प्रतिष्ठित अवार्ड प्राप्त कर चुकी हैं। सिर्फ शहर में ही नहीं वह अपने हुनर की चमक आगरा, भोपाल, इंदौर, डबरा और मुरैना में भी बिखेर चुकी हैं। बहुमुखी प्रतिभा की धनी गरिमा ने क्लासिकल डांस फॉर्म के अलावा वेस्टर्न, फोक और सेमिक्लासिकल डांस में भी महारत हासिल कर ली है। वह अपनी मां माधवी सिंह तोमर को अपना आदर्श मानती हैं। भविष्य की योजनाओं के बारे में पूछे जाने पर वह कहती हैं कि यदि अपनी नृत्यकला के माध्यम से गरीब बच्चों की मदद के कुछ कार्य कर सकूं तो यह सबसे अच्छा होगा।
garima shrivastava
9826063112

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