जो घट रहा है वह जरूरी नहीं कि सही रूप में लोगों के सामने परोसा जाए, इसलिए मैं तो जो देखता हूं बस मन में आता है लिख देता हूं बस, लोगों को जो भी लगे। अच्छा या बुरा। बस लिखता जाता हूं ओर लिखता
मंगलवार, 25 अक्टूबर 2011
खुशियों ·े दीप आप सभी ·े जीवन में नई रोशनी ले·र आए´, यही मेरी ईश्वर से ·ामना है। ÈÔ¤सबु· से जुड़े सभी लोगों ·ो दीपावली ·ी हार्दि· शुभ·ामनाए´ ...
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