जो घट रहा है वह जरूरी नहीं कि सही रूप में लोगों के सामने परोसा जाए, इसलिए मैं तो जो देखता हूं बस मन में आता है लिख देता हूं बस, लोगों को जो भी लगे। अच्छा या बुरा। बस लिखता जाता हूं ओर लिखता
मंगलवार, 29 दिसंबर 2009
चाँद तारे की तरहे सभी लिखाड़ को नव वर्ष मंगल मय हो अजय साहू ग्वालियर का सितारा
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